वाराणसी, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी
में उत्तर भारत और दक्षिण भारत की समृद्ध संस्कृति के समागम को दर्शाते काशी तमिल संगमम
का विधिवत उदघाटन किया।
बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के एंफीथिएटर मैदान में आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने से
पहले श्री मोदी ने तमिलनाडु से आये शैव मठाधीशों (धीनम) से मुलाकात की और काशी-तमिल को
जोड़ने वाली दो पुस्तकों का विमोचन भी किया। इस मौके पर केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण राज्यमंत्री
डॉ. एल मुरुगन, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, केंद्रीय शिक्षा धर्मेंद्र प्रधान
समेत उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु के कई मंत्री और गणमान्य हस्तियां मौजूद थी।
सफेद धोती और कुर्ते के ऊपर तमिल परिधान का परिचायक गमझा डाले श्री मोदी के कार्यक्रम स्थल
पहुंचते ही कार्यक्रम स्थल वणक्कम-वणक्कम (नमस्ते) की आवाज से गूंज उठा।
इससे पहले बीएचयू हैलीपैड पर उनका स्वागत राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और मुख्यमंत्री योगी
आदित्यनाथ ने किया। बीएचयू हेलीपैड पर उनका स्वागत किया। प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री के आगमन के
मद्देनजर बीएचयू परिसर की सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद रही। सुरक्षा की मुख्य कमान एसपीजी के
हाथों में रही, जबकि स्थानीय पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी पल-पल की अपडेट लेते रहे।
कार्यक्रम की पूर्व संध्या पर शुक्रवार को श्री मोदी ने काशी यात्रा के प्रति उत्सुकता जताते हुये ट्वीट
किया था “ वाराणसी में होने वाले काशी तमिल संगमम् कार्यक्रम में शामिल होने को लेकर बहुत
उत्सुक हूं। यह एक ऐसा भव्य और ऐतिहासिक अवसर होगा, जिसमें भारत के सांस्कृतिक जुड़ाव और
तमिल भाषा की सुंदरता का अद्भुत संगम देखने को मिलेगा।”