नई दिल्ली । विमानन कंपनी इंडिगो के चेयरमैन एम. दामोदरन ने कहा है कि इस एयरलाइन के एक प्रवर्तक राकेश गंगवाल का यह शक कि निदेश मंडल के विस्तार के बाद दूसरे प्रवर्तक राहुल भाटिया का खेमा कोई उल्टा सीधा प्रस्ताव पारित करा सकता है, कंपनी के निदेशकों की अमानती की भूमिका की दृष्टि से कोई अच्छी बात नहीं है। दामोदरन ने पांच अगस्त को भेजे एक ईमेल में कहा कि कंपनी के निदेशक मंडल में प्रस्तावित विस्तार के तहत सबसे पहले एक महिला स्वतंत्र निदेशक को शामिल किया जाएगा। इसके बाद एक पूर्णकालिक कार्यकारी निदेशक को नियुक्त किया जाएगा। तीसरी नियुक्ति एक स्वतंत्र निदेशक की होगी जबकि चौथी नियुक्ति इंटरग्लोब एंटरप्राइजेज (आईजीई) के सुझाव पर की जाएगी। उनका यह मेल गंगवाल के पांच तारीख को ही इंडिगो की परिचालक कंपनी इंटरग्लोब एविएशन के निदेशक मंडल को पत्र लिख कर अपनी चिंता और आशंका जताई थी।दूसरे प्रवर्तक राहुल भाटिया और उनके समूह इंटरग्लोब एंटरप्राइजेज की इंडिगो की परिचालक कंपनी में करीब 38 प्रतिशत हिस्सेदारी है। इंडिगो ने इस पत्र के बारे में मंगलवार को बीएसई को बताया। गंगवाल ने एक पत्र लिखकर आशंका व्यक्त की थी कि निदेश मंडल में आईजीई के सुझाव पर नियुक्त निदेशकों की संख्या अधिक हो जाने से निदेशक मंडल संदेहास्पद निर्णय ले सकता है। दामोदरन ने इसी बात को लेकर ईमेल भेजा था। दामोदरन बाजार विनियामक सेबी के चेयरमैन रहे हैं। उन्होंने अपने मेल में लिखा है कि यह डर कि आईजीई ग्रुप, इस बीच, उल्टे-पल्टे फैसले करा सकता है, निदेशक मंडल में कार्यरत स्वतंत्र निदेशकों या आईजीई द्वारा नामित निदेशकों सहित पूरे निदेशक मंडल के सम्मान की बात नहीं है।’’